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Sunday, August 6, 2017

Same crap in different parcel by Imtiaz Ali

Jab Harry Met Sejal : What You Seek is Seeking You!



मैं इस post की starting में ही कह दूं की ये post काफ़ी लंबा होगा| अगर सिर्फ़ movie के बारे में जान ना हैं तो direct para 3-4 पढ़ ले|
मैं Shahrukh Khan का fan हूँ , किसी भी हस्ती का fan होने के साथ-साथ आपके उपर एक ज़िम्मेदारी भी आ जाती हैं, ज़िम्मेदारी इस चीज़ की कि हमे उनकी हर movie देखनी होगी first day और कभी कभी first show भी, ज़िम्मेदारी इस चीज़ की कि जब भी media में कोई controversy हो तो हमे उनके point of view से लोगो को समझाना होगा की जो भी इन्होने किया हैं वो एक दम सही हैं, public यू ही issue बना रही हैं, दूसरी हस्तियो के fans  से भी हमे कई बार debate करनी पड़ती हैं की कैसे शाहरुख की movie बाकियो से अच्छी हैं और कैसे Shahrukh हर बार ये कोशिश कर रहे हैं की वो अच्छी movies बनाए. लेकिन, मैं उन fans में से नही हूँ , मैने first day first show नही देखा क्यू कि college नही छोड़ सकता था (attendance), मैने sunday को movie देखी क्यू की tickets बहुत ही मँहगे थे (अब चाहे इसे आप मेरी ग़रीबी कहे या समझदारी कि मैं 100 Rs.  की ticket लेकर गया movie देखने)| खैर ये आपको इस post के end में पता चल जाएगा की Shahrukh चाहे कितना भी कह ले की वो बहुत मेहनत कर रहे हैं अच्छी movies बनाने के लिए लेकिन, मेरे हिसाब से ये सच नही हैं, अगर मेहनत होती तो शायद अब तक दिख जाती|
रईस देखने के बाद मैं एक दम निराश हो चुका था की कब शाहरुख भाई अच्छी movies बनाएगे, तभी एक दम से पता चलता हैं की Shahrukh Khan और Imtiaz Ali एक नयी movie पर काम कर रहे हैं, और शुरू में लोगो ने ये कयास लगाया की movie का नाम हैं "The Ring", लेकिन, बाद में पता चला की movie का नाम इस से भी बुरा हैं "जब Harry met  सेजल"| वैसे अगर आपने "When HarryMet Sally" नही देखी हैं तो ज़रूर देखे, LKSIFF इसे recommend करना चाहेगा अपने readers को| movie के mini trails देख कर लग रहा था की कुछ अलग सा होने वाला हैं movie में, (क्यू कि trailers बनाए ही इसीलिए जाते हैं की लोगो को वही घिसी पीटी कहानिया कुछ नयी सी लगने लगे,) और जैसा की हुआ भी लोगो के मन में आ गया की इस बार कुछ अलग मज़ा आएगा| Shahrukh इस बार एक दम casanova जैसे बने हैं और दूसरी तरफ हैं Sejal (Anushka Sharmaजो Europe घूमने आई हैं लेकिन वहाँ अपनी ring घुमा देती हैं, फिर आए movie के गाने जो की मुझे personally काफ़ी अच्छे लगे| गानो से मेरा मन और पक्का हो गया की ये movie तो जानी ही हैं| लेकिन बहुत से लोग ऐसे भी थे जो इस movie को Imtiaz Ali की वजह से देखना चाह रहे थे क्यू कि उनके हिसाब से Imtiaz Ali हर बार कुछ नया और अलग लाते हैं, मैं यहा पर उन सब से disagree करना चाहूँगा| मेरे हिसाब से there is nothing new in his recent works, मैं जनता हूँ की लोग बोलेंगे कि क्या आपने Jab We Met देखी हैं ? नही, मैने नही देखी, लेकिन मैं भी एक सवाल आपके सामने रखना चाहूँगा कि क्या आपने उनकी बाकी movies ढंग से देखी हैं? मुझे अभी तक सिर्फ़ दो ही movies हैं जो अच्छी लगी, Rockstar और Tamasha| लेकिन मैं आपको एक बार फिर से इन movies के दौरे पर ले जाना चाहूँगा| Love Aaj Kal(LAK), Tamasha, Highway और जब Haary met सेजल (JHMS)| Love Aaj Kal, Tamasha और JHMS में starting foreign location से होती हैं, दूसरा LAK में भी हमारा हीरो casanova होता हैं एक दम modern जो एक दम casual relationship में होता हैं, यहा पर Harry भी ऐसे ही दिखाए गये हैं, Highway और Tamasha में क्या होता हैं? दोनो में ही lead किरदार अंदर से घुटे हुए होते हैं, और JHMS में भी दोनो ऐसे ही कुछ behave करते हैं| और तो और Imtiaz की हर movie का second half इंडिया में आ जाता हैं, जैसे की आपको याद होगा LAK में Saif Ali Khan India आ जाते हैं, Tamasha में भी कहानी India Shift हो जाती हैं, JHMS में भी कुछ ऐसा ही होता हैं| अगली बात, Tamasha, LAK और JHMS में भी आपको वही पंजाबी feel दिख जाती हैं, जैसे बीच बीच में Punjab के गाँवो में गाने गाना, नगाड़े बजाना ये सब आपको उनकी हर movie में दिख जाएगा| मैं बस यही कहना चाह रहा हूँ कि Imtiaz की movies में एक pattern हैं जो आप देख सकते हैं, और आप predict भी कर सकते हैं कि उनकी अगली movie कैसी होगी| आख़िर कब तक वही सब्जी अलग-अलग बर्तनो में दोगे?
अब करते हैं movie की बात, movie की opening में आपको वाकई में ऐसी feel आएगी की कुछ बढ़िया start होने वाला हैं, जब Safar गाने के साथ Shahrukh Khan की एंट्री होती हैं तो आप भी feel में उनके साथ गुनगुनाने लग जाते हैं, opening credits में आपको हल्की-हल्की कुछ पुराने मकानो की झलकिया दिखनी लगती हैं जो शायद ये अंदाज़ा देती हैं की Harry अभी भी अपने देश को किसी वजह से miss कर रहा हैं और तभी इसी बीच होती हैं Sejal की entry| बस फिर कहानी चलती रहती हैं, चलती ही रहती हैं और चलती ही रहती हैं, आप सोचते हैं की अब कुछ होगा शायद कुछ dramatic होगा, लेकिन आधी से ज़यादा movie में होता क्या हैं? सिर्फ़ और सिर्फ़ मस्ती| अगर आपने कुछ ऐसी movies देखी हो तो आप movie के एक मात्र twist को भी predict कर सकते हैं आप इंतेज़ार करते हैं की कब ये कुछ अलग Love Story बनेगी कुछ turn आएगा लेकिन ऐसा कुछ नही होता बस कहानी चल रही हैं| बस एक चीज़ फिल्म आपको बढ़िया Europe दर्शन करा देगी| Second Half में तो movie और धीरे हो जाती हैं| मतलब आपको लगेगा की काश ये मैं laptop पर देख रहा होता तो कम से कम forward तो कर सकते थे लेकिन यहा तो वो भी नही हो सकता और इस सब के साथ-साथ movie में हर situation पर एक गाना हैं और आपको यही लगने लगेगा कि ये कब तक चलेगा? जल्दी से रिंग मिले और ख़तम हो movie यार?" दूसरी चीज़ movie का background music ऐसा हैं की आपको उबासी आएगी ही| आप चाहे कुछ भी कर ले, एक तो  इतनी slow, dramatic और फिर ऐसा म्यूज़िक जिसमे कोई feel ही नही हैं और तो और इसके साथ-साथ अपको hall में बैठे लोगो की उबासी के sound effects भी सुनाई देंगे इस से आप समझ सकते हैं की सिर्फ़ आप ही नही हैं जो bore हो रहे हैं| movie इतनी slow हैं की आप बीच-बीच में अपना मोबाइल निकाल कर check कर रहे होंगे की कोई message तो नही आया? कोई notification तो नही आया?. तीसरा, Harry का खुद का कोई character ही नही हैं, Harry को देख कर आपको Jab Tak Hain Jaan के Samar Anand की याद आ जाएगी | Harry की चाल ढाल, बोलने का तरीका सब उनकी पुरानी movies की तरह हैं, कुछ नया नही, ऐसा लगता हैं की शाहरुख अब असल जिंदगी में भी एक पर्सनॅलिटी जी रहे हैं जो उनके काम को प्रभावित कर रही हैं| Harry बस इस movie में smart और hot लगे हैं और कुछ नही, dialogues इतने normal की कोई भी लिख सकता हैं| सिर्फ़ एक लाइन movie is boring and melodramatic or I must say over dramatic.

अब बात करते हैं अच्छी बातो की जो की बहुत कम हैं, इस movie के गाने अगर आपको अच्छे लगे हैं तो आपको मज़ा आएगा, एक scene हैं जिसमे Harry समुन्द्र के किनारे जा कर चिल्लाता हैं उस scene में आपको उसके दुख का अंदाज़ा हो जाएगा और आपको लगेगा की अभी थोड़ी आक्टिंग बची हैं कहीं शाहरुख भाई में| तीसरा, अच्छा हुआ movie में  Butterfly गाना क्रेडिट्स में आता हैं वरना शायद movie और बुरी लगती|
लेकिन हा एक चीज़ हैं जो इस movie में मुझे काफ़ी अच्छी लगी| वो ये की Harry का दोस्त उस से एक बात बोलता हैं की कभी-कभी हम ये सोच लेते हैं कि अगर मैं उसे कुछ कह देता तो क्या हो जाता? हम भी कभी कभी ऐसा सोच ले ते हैं कि अगर मैं उसे मेरे मन की बात बता भी दूं तो क्या हो जाएगा? इसका जवाब आपको ये फिल्म देगी की "क्या हो जाएगा" is something जो हम भी नही जानते आप ये सोच कर रुक जाते हैं की जो मैं चाहता हू वो तो नही ही होगा लेकिन, ज़रूरी नही कि हर बार ऐसा ही हो| क्या पता दिल की बात कहने से हम और करीब आ जाए? क्या पता की वो इंसान भी इसी इंतेज़ार में हो कि आप उसे अपने दिल की बात कहे  या यू कहे की आप उसे सच बोले लेकिन आप यही सोच कर रुक गये की "क्या हो जाता अगर मैं बोल भी देता तो" ये चीज़ मुझे वाकई में बहुत शानदार लगी की हा हमे क्या ज़रूरत हैं छुपाने की अपने लोगो से|
मैने एक TV  Series देखी थी उसमे एक लाइन आती हैं जो यहा एक दम सटीक बैठ रही हैं-
    
"We all want people to think the best of us. So, sometimes we cover things up to protect ourselves. But we don’t have to be afraid because the truth is always as good thing. Truth sets us free, brings us closer."
                                                                        Modern Family Season 5 Episode 16

Lastly, मैं बस यही कहूँगा कि Shahrukh Sir, आपको वाकई मैं अपनी आने वाली films में script पर ध्यान देना होगा, क्यू कि एक टाइम आएगा जब हमारे जैसे fans भी आपकी movies को support करना बंद कर देंगे| आख़िर कब तक कोई किसी की ग़लतियो को defend करे? भैया कब तक?
I am a great fan of yours but I am great fan of your personality, the way you tackle situations, the way you give witty answers, and obviously your sense of humor लेकिन, acting इन सब में सबसे last में आती हैं और मैं नही चाहता कि ऐसा हमेशा रहे, so that’s all I want to say and I am waiting for your next movie with Anand L. Rai.

Friday, June 30, 2017

The Greatest Story Ever Told

Sholay (The Greatest Story Ever Told)









मैं जानता हूँ कि आप में से बहुत से लोग GST के लागू होने का इंतेज़ार कर रहे होंगे और बहुत से लोग शायद TV पर news channel इधर से उधर घुमा रहे होंगे, लेकिन इसी बीच मैं अपने घर पर बैठा एक ऐसी film देख रहा था जिसकि मिसाल दो दोस्तो के लिए दे जाती हैं, इसी फिल्म ने हमे बताया कि दोस्ती क्या होती हैं और कैसे निभाई जाती हैं, film का नाम हैं
RameshSippy का निर्देशन, R. D. Burman का music और उस वक़्त कि मशहूर जोड़ी Salim-Javed का Screenplay| इस film के बारे में मुझे मेरे father ने जब पहली बार बताया था तो उन्होने कहा था कि जब ये film 1975 में आई थी तब वो इसे नही देख पाए थे लेकिन जब कुछ साल बाद ये film वापस release हुई तब वो इसे cinema hall में देखने गये| मैने तब यही सोचा था कि क्या वाकई में ऐसी कोई movie हो सकती हैं जिसे देखने आप वापस इतने सालो बाद जाए? क्या वाकई में कोई film ऐसी हो सकती हैं जिसकि गानो कि cassettes के साथ साथ dialogues कि भी cassettes बिकि हो? जी हा यही सच हैं, film को critics ने negative reviews दिए लेकिन जैसा कि मेरे father बताते हैं कि इस जिन लोगो ने शुरू में ये film देखी वो जब cinema hall से बाहर आए तो वो इसी film के dialogues को इधर उधर रोज के काम काज़ो में use किया करते थे जैसा कि एक उधारण मेरे father देते हैं कि जब वो ये film देख कर आए उसके बाद जब भी हमारे यहा कोई मेहमान आता था तो वो बोला करते थे

"आओ ठाकुर, अभी तक ज़िंदा हो"

और जैसा कि बताया जाता हैं यही वजह बनी कि  इस film को negative reviews मिलने के बाद भी यह फिल्म blockbuster बनी, इसे हम दूसरे शब्दो में mouth publicity भी कहते हैं, मैं तो एक बार यही सोच कर हिल गया था कि इस फिल्म के dialogues कि भी audio cassettes बिकि हैं| आज के ज़माने में ऐसा सुन कर बड़ा अजीब लगता हैं कि लोग सिर्फ़ वो फिल्म को audio में सुन ने के लिए ये cassettes खरीदा करते थे,
आज ये post लिखने के पीछे मेरा ये उद्देश् नही हैं कि मैं इस फिल्म का review करने बैठा हूँ, ये उन फ़िल्मो में से हैं जिसे review करना मेरी बेवकूफी होंगी| क्यू कि  मेरे हिसाब से ये एक दम perfect फिल्म हैं, मैने जितनी बार भी ये फिल्म देखी हैं मुझे पता नही कभी बोरियत नही हुई, इसका एक कारण शायद यह भी हो सकता हैं कि मैं इस film को जब भी देखता हूँ तो मेरे मन में कही ना कहीं ये ख़याल चलता रहता हैं कि  अब ये scene आने वाला हैं, वो देख लेता हूँ, जैसा कि जब मैं आज देखने बैठा तो मुझे वो famous train वाला action देखना था जिसमे शुरू में जय, वीरू और ठाकुर एक साथ train में, घोड़े पर सवार गंडो का मुक़ाबला करते हैं, और तब मुझे याद आता हैं कि एक बहुत ही शानदार scene आने वाला हैं जिसमे Train लकड़ी के एक गत्थे को उड़ती हुई निकल जाती हैं, मैं यकिन के साथ कह सकता हूँ कि आपको ज़रूर वो scene याद होगा, उसके बाद मैं इंतेज़ार करता हूँ कि कब वो गाना आए

"ये दोस्ती हम नही तोड़ेंगे, तोड़ेंगे दम मगर तेरा साथ ना छोड़ेंगे"

आज भी जब भी किन्ही दो दोस्तो कि दोस्ती कि मिसाल दी जाती हैं तो उनको जय और वीरू के नाम से बुलाया जाता हैं, इसी गाने ने हमे बताया कि दोस्ती का क्या मतलब हैं, उसके बाद आगे बढ़ते हैं तो हमे दिखता हैं, वो scene जिसमे पहली बार गब्बर को दिखाया जाता हैं, जिसमे आते हैं दो सबसे famousdialogues

"अरे ओह सांभा, ज़ारा बताना सरकार कितना इनाम रखे हैं हम पर
पूरे 50 हज़ार
यहाँ से 50-50 कोस दुर जब कोई बच्चा रोता हैं तो उसकि माँ कहती हैं कि सोजा वरना गब्बर आ जाएगा"

और दूसरा

"अब तेरा क्या होगा कालिया?
सरदार मैने आपका नमक खाया हैं,
अब गोली खा...."

आपको पता होता हैं कि अब गब्बर इन्हे मार देगा लेकिन तब भी आप उस scene को वापस पूरा देखना चाहते हैं, कि कैसे हस्ते हुए गब्बर उन तीनो को मारता हैं, वो गब्बर का हसना और उन तीनो को एक साथ मार देना, ही हैं जो आपको वो scene वापस देखने पर मजबूर कर देता हैं  

फिल्म में बीच-बीच में छोटे मोटे हसी मज़ाक के पल भी आते हैं, जैसे कि, जब veeru भगवान शिव के मंदिर में मूर्ति के पीछे जा कर बसंती को बोलता हैं कि उसे वीरू से ही शादी करनी होंगी, और सबसे epic scene जिसमे वीरू पानी कि टंकि पर चढ़ कर suicide करने का नाटक करता हैं, जिसमे वीरू बोलता हैं कि

"I am dying, police coming,
मौसी  going to jailing
मौसी चक्की pising pising pising….”

फिल्म में ऐसे बहुत से मोड़ आते हैं जो आपको हैरान कर देते हैं, जैसा कि जब पहली बार हमे पता चलता हैं कि ठाकुर के दोनो हाथ नही हैं, और जब कहानी flashback में जाती हैं तो आपको पता चलता हैं कि ठाकुर शुरू में ये demand क्यू रखता हैं कि उसे गब्बर जिंदा ही चाहिए| film के अंत में जो सबसे बड़ा suspense कहे या क्या कहे हमे पता चलता हैं वो ये कि जय के पास जो सिक्का होता हैं, वो दोनो तरफ से same होता हैं| और जब जय कि मौत होती हैं तो एक बार के लिए तो आपका दिल भी ये मन में कह देता हैं कि

इसे क्यू मारा जा रहा हैं? ये तो हीरो हैं ये last में देखना बच जाएगा 

लेकिन अंत में जय कि मौत हो जाती हैं, तब आपको ऐसा दुख होता हैं मानो आपके अपना ही कोई दोस्त खो दिया हो, शायद इसी को Acting कहते है, शायद यही होता हैं जब एक बेहतरीन Script, निर्देशन, और music का मेल होता हैं,

Film में characterization पर बहुत ध्यान दिया गया हैं, गब्बर(Amjad Khan), जय(Amitabh Bachchan), वीरू(Dharmendra), बसंती(Hema Malini), Jailor (Asrani), इमाम साहेब (A. K. Hangal) और बाकि सभी, आप के दिमाग़ में कुछ ना कुछ ऐसा छोड़ जाते हैं जिस से आप इनसे relate कर पाते हैं, जैसे
इमाम साहेब का वो dialogue जब उनके बेटे कि मौत हो जाती हैं और वो आ कर बोलते हैं,

"इतना सन्नाटा क्यूँ हैं भाई"

जब बसंती कि entry होती हैं तो
"चल धन्नो"

गब्बर का एक और famous dialouge
"जो डर गया, समझो मार गया"

जय का वो harmonica पे वो धुन बजाना

ये सब चीज़े इतनी ज़यादा तरीके से दिखाई गयी हैं कि आप समझ सकते हैं कि script पर कितनी मेहनत कि गयी होगी     
यह post लिखने के पीछे मेरा एक हे कारण था कि मैं ये आप सभी को बता सकु कि यह उन फ़िल्मो में से एक हैं जिन्हे आपको मरने से पहले देखना चाहिए| और आज ये post लिखने का सबसे बड़ा कारण ये भी हैं कि आज मैने ये film अपने father के साथ देखी, क्यू कि एक वही ऐसे इंसान हैं जिन्होने मुझे शुरू से हे फ़िल्मो में बाँधे रखा, आज मैं ये जो पोस्ट लिख रहा हूँ, ये करने की हिम्मत भी मुझे उन्ही से आई क्यू कि अगर वो मुझे इस दुनिया से वाकिफ़ नही करवाते तो शायद आज मैं ये नही लिख रहा होता...
हो सकता हैं कि मेरे इस post में बहुत सी चीज़े छूट गयी हो जो इस film में थी, मैं यही request करूँगा कि आप वापस ये movie देखे और उन चीज़ो को ढूँढे जो इस movie को आपके लिए ख़ास बनाती हैं,...

Sunday, June 4, 2017

Quite unexpected from Konkona Sen Sharma

A Death in The Gunj




इस friday एक काफ़ी बड़ी movie release हुई हैं, Wonder Woman पर उस movie की fan following इतनी बड़ी हैं कि लोग movie देखने जाएगे ही चाहे critics कुछ भी कह दे. और रही बात India-Pakistan के match की तो जैसा की मैने पिछले post में कहा था की मैं cricket बिल्कुल भी नही देखता इसीलये match देखने की बजाय मैं एक ऐसी movie देखने गया जिसका नाम ही बहुत कम लोगो ने सुना हुआ हैं, और वो हैं Konkona Sen Sharma के द्वारा निर्देशित उनकी पहली movie A Death in The Gunj. यह फिल्म Mukul Sharma द्वारा लिखी हुई एक short story पर based हैं.

इस movie का trailer 3-4 महीने पहले आया था और movie अब, इसी से आप अंदाज़ा लगा सकते हैं की movie की demand इतनी ज़्यादा नही थी और हुआ भी यही जब मैं आज ये movie देखने गया तो cinema hall में सिर्फ़ 8 लोग थे मुझे तो एक बार के लिए लगा की शायद show हे cancel ना हो जाए पर फिर भी movie को चलाया गया. फिल्म की कहानी सन 1979 से शुरू होती हैं जब एक family छुट्टिया मानाने McCluskienganj जाते हैं, कहानी के मुख्य पात्र हैं Shutu (Vikrant Massey जो आपको फिल्म Lootera में भी दिखे थे). Shutu Calcutta से अपनी पढ़ाई पूरी करके इस family के साथ यहा आते हैं, ये कहानी mainly उन्ही पर focus करती हैं, फिल्म की शुरूवात जब होती हैं तो लगता हैं की कुछ ग़ज़ब होने वाला हैं, आपके मन में ये सोच आ जाती हैं की कहानी में कुछ मज़ा आएगा, जैसे-जैसे कहानी आगे बढ़ती हैं तो बीच बीच में ऐसे कई मौके आते हैं जब आपको लगता हैं की अब कुछ होगा - अब शायद कुछ thrill आएगा लेकिन हर बार कहानी आपको चकमा दे कर कुछ और ही दिखाती हैं. फिल्म का first half तोड़ा slow हैं, क्यू की बीच बीच में आपको लगेगा की कुछ चीज़े ज़बरदस्ती डाली गयी हैं, लेकिन वो चीज़े इसीलिए डाली गयी हैं की दर्शक कुछ predict ना करले और Director इस चीज़ में काफ़ी सफल हुए हैं,  पर जैसे ही intermission के बाद कहानी आगे बढ़ती हैं कहानी वो सब deliver करती हैं जो आप first half में expect कर रहे थे. फिल्म में जीतने भी पात्र हैं उन सभी ने काम बहुत ही शानदार तरीके से किया हैं और ख़ासकर की Ranvir Shorey और Vikrant Massey ने.  कहानी का अंत आते आते जब आपको लगता हैं की शायद ये एक normal सी ही movie हैं तभी एक दम से वो moment  आता हैं जब आप देख पाते हैं की फिल्म की शुरूवात इतनी अजीब सी क्यू रखी गयी हैं, फिल्म का direction बढ़िया हैं, आपको ऐसा लगेगा ही नही की ये की कोई पहली बार direct कर रहा हैं, और ख़ासकर की cinematography, movie इतनी soft चलती हैं की आपको पता ही नही चलेगा की कब क्या चीज़ आने वाली है.


इस movie को देखने सिर्फ़ वही लोग जाए जिन्हे pure drama पसंद हैं, क्यू की movie बहुत slow चलेगी, हो सकता हैं की आपके मन में एक बार ये सवाल भी आ जाए की क्या इस movie में कुछ होगा भी या बस यूँ ही चले जा रही हैं, इसीलिए ये movie mass audience के लिए बिल्कुल भी नही हैं, और मुझे तो ये भी लगता हैं की class audience वालो में से भी हर किसी को पसंद ना आए. और हा अगर आप सिर्फ़ film का नाम सुनकर जा रहे हैं तो हो सकता हैं आपको थोड़ी निराशा हाथ लगे क्यू की जैसा की मैने कहा ये फिल्म बहुत हे unpredictable हैं, आप जो सोच के जाएगे ये फिल्म आपको वो नही देगी.